CG Naxal: देश में छत्तीसगढ़ सहित अन्य राज्यों में नक्सलियों के खात्मे के लिए केंद्रिय गृहमंत्री अमित शाह द्वारा तकनीक की सहायता लेकर रणनीति और जनता के समर्थन के साथ लाल आतंक को तोड़ा गया.
अमित शाह ने बताया कि सरकार की रणनीति के चलते नक्सलवाद से अति प्रभावित जिलों की संख्या 12 से घटकर मात्र 6 रह गई है. इनमें छत्तीसगढ़ के 4 जिले- बीजापुर, कांकेर, नारायणपुर और सुकमा और झारखंड का पश्चिमी सिंहभूम और महाराष्ट्र का गढ़चिरौली जिला ही बाकि है.
सरकार ने मार्च 2026 तक इस समस्या से मुक्ति का टारगेट रखा है. नक्सलवाद से सबसे ज्यादा प्रभावित छत्तीसगढ़ में लगातार ऑपरेशन से हालात यह हैं कि नक्सलियों का कैडर मामूली रह गया है, बड़े नेता दूसरे राज्यों में जाकर छिप गए हैं और मध्यम स्तर के नेता जंगलों में भटक रहे हैं.
गृह मंत्री अमित शाह ने नक्सल प्रभावित राज्यों के मुख्यमंत्रियों के साथ 11 और पुलिस महानिदेशकों के साथ 12 मीटिंग कर रणनीति तैयार की. गृह मंत्रालय के सूत्रों के अनुसार नक्सलियों के खात्मे के लिए सुरक्षा बलों ने तकनीकी सर्विलांस का जबरदस्त इस्तेमाल कर उसी के आधार पर फोर्स की तैनाती की और हर जगह देशद्रोहियों को ट्रैक कर उनका सफाया करने में सफलता हासिल की.
इलाकों में तेज रफ्तार से विकास पहुंचाकर जहां नक्सल विचारधारा के प्रभाव में फंसे लोगों की सोच बदली, वहीं सरेंडर का मौका देने के बावजूद हिंसा पर आमादा नक्सलियों के कमांडर्स को ढेर कर काडर की कमर भी तोड़ी गई.
आर्थिक रूप से कमर तोड़ी
सूत्रों के अनुसार नक्सल क्षेत्र में कैडर के सफाए के साथ हथियारों की सप्लाई और उसके लिए आर्थिक मदद को भी रोका गया. नक्सलियों को धन मुहैया कराने वालों के खिलाफ धनशोधन कानून (पीएमएलए) के तहत मामले दर्ज कर आरोपियों को जेल भेजा गया.
पिछले 15 महीने में 400 से ज्यादा नक्सली अलग-अलग मुठभेड़ में मारे जा चुके हैं। बड़े नक्सल लीडर सरकार के अभियान से खौफजदा हैं और खुद को सेफ जोन में छिपा लिया है.
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